पटना आधार कार्ड के प्रति अब भी मरीज जागरूक नहीं

बिहार ; अस्पताल के ओपीडी में अधिकतर मरीजों का आधार कार्ड नहीं बन सका. रजिस्ट्रेशन काउंटर से मिले पेपर पर ही विभिन्न विभागों में मरीजों को इलाज दिया गया.
बताया गया कि वरीय पदाधिकारियों से निर्देश प्राप्त है कि प्रत्येक सप्ताह के व शुक्रवार को पूर्ण रूप से पेपरलेस इलाज जबकि अन्न दिनों में भी अधिकतर मरीजों का इलाज आभा कार्ड के जरिए ही दिया जाना है. लेकिन अस्पताल आने वाले अधिकतर मरीज अब भी इस नए नियम से अनभिज्ञ हैं. काउंटर पर रजिस्ट्रेशन के दौरान कोई आधार कार्ड दे रहा है तो उसका मोबाइल घर पर मिल रहा है. तो कोई बिना आधार कार्ड के ही अस्पताल में इलाज कराने पहुंचा है.

कई ऐसे भी बुजुर्ग मरीज पहुंच रहे हैं, जिनका फिंगर ही मशीन पर शो नहीं कर रहा है. इस दशा में उनका आभा कार्ड बनाना काफी असुविधाजनक हो जा रहा है. बताया गया कि आभा कार्ड के जरिए मरीज के पुराने जांच व इलाज की जानकारी कोई भी डॉक्टर ऑनलाइन कुछ ही देर में आसानी से ले सकता है.
तीन बजे तक 180 आभा कार्ड बनाया गया था मिले एक आंकड़े के अनुसार दोपहर के तीन बजे तक करीब 180 मरीजों का ही आभा कार्ड बनाया गया था. जबकि इलाज के लिए अस्पताल पहुंचे मरीजों का काउंटर पर कुल रजिस्ट्रेशन पांच सौ से भी अधिक था.
एक मिनट में हो रहा है एक रजिस्ट्रेशन
अस्पताल में मरीजों का विभिन्न कारणों से आभा कार्ड बनाने में करीब एक मिनट का समय लग रहा है. जबकि इसके पहले रजिस्ट्रेशन में कुल दस सेकेंड का समय लगता था. इस कारण भी रजिस्ट्रेशन काउंटरों पर मरीजों को पहले की अपेक्षा अधिक समय देना पड़ रहा है. बताया गया कि इन दिनों ओपीडी में आने वालों मरीजों की संख्या करीब सौ से अधिक है
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