सुर्खियों में बनी हुई हैं सांसद महुआ मोइत्रा, अदालत में जमकर हुआ ड्रामा, VIDEO

नई दिल्ली: तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा विवादों में फंसती ही जा रही हैं। पहले बिजनेसमैन दर्शन हीरानंदानी ने उनके खिलाफ कई गंभीर आरोप लगाए। अब उनके एक पूर्व दोस्त और वकील ने महुआ पर कुत्ते की चोरी/अपहरण करने का आरोप लगाया है। इस मामले पर आज दिल्ली हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। दोनों पक्षों के बीच खूब आरोप-प्रत्यारोप हुए। जज की सख्त टिपण्णी पर सीनियर वकील ने महुआ के केस से खुद को अलग कर लिया।

इससे पहले वकील जय अनंत देहाद्राई ने दिल्ली पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर अपने पालतू कुत्ते हेनरी की चोरी के आरोप लगाए हैं। आपको बता दें कि चार दिन पहले महुआ मोइत्रा द्वारा वकील जय अनंत देहाद्राई को कानूनी नोटिस भेजा गया था।
वकील ने आज सुबह एक्स पर एक पोस्ट में दावा किया कि हेनरी का इस्तेमाल सीबीआई शिकायत वापस लेने के लिए उस पर दबाव डालने के लिए किया जा रहा था। अपने पोस्ट में उन्होंने कहा, “कल दोपहर मुझे हेनरी के बदले में निशिकांत दुबे को अपनी सीबीआई शिकायत और पत्र वापस लेने के लिए मजबूर करने का प्रयास किया गया। मैंने साफ इनकार कर दिया। मैं सीबीआई को पूरी जानकारी दूंगा। मैसेंजर पूरी तरह से निर्दोष है, लेकिन बताता है आप उसके बारे में सब कुछ जानते हैं।”
दिल्ली पुलिस आयुक्त को लिखे पत्र में वकील जय अनंत देहाद्राई ने अपने दावे को साबित करने के लिए अपने पालतू कुत्ते हेनरी की खरीद की तारीख, भुगतान की गई राशि, पालतू जानवर की दुकान का नाम और प्रमाण पत्र सहित विस्तृत विवरण दिया है। उन्होंने जोर देकर कहा कि महुआ मोइत्रा ने उनके पालतू कुत्ते हेनरी का अपहरण कर लिया है। उन्होंने अपने कुत्ते हेनरी की सुरक्षित वापसी की गुहार लगाई है।
वहीं, आज दिल्ली हाईकोर्ट में महुआ मोइत्रा से जुड़े मामले में सुनवाई भी हुई। देहाद्राई ने कोर्ट से कहा, “यह बहुत परेशान करने वाली बात है। यहां हितों का बहुत गंभीर टकराव है। उन्होंने मुझसे 30 मिनट तक बात की। उन्होंने मुझसे कुत्ते के बदले में सीबीआई की शिकायत वापस लेने के लिए कहा। वह इस मामले में पेश नहीं हो सकते। मेरे पास रिकॉर्डिंग है।”
महुआ के वकील शंकरनारायणन ने इसपर कोर्ट को बताया, “जय ने मुझे पहले भी निर्देश दिया है। इसीलिए, जब मुझसे इस मामले में पेश होने के लिए कहा गया, तो मैंने अपने मुवक्किल से कहा कि मुझे उससे बात करने दीजिए। वह सहमत हो गई।”
दोनों पक्षों को सुनने के बाद न्यायमूर्ति सचिन दत्ता ने का कि वह इस आरोप से स्तब्ध हैं और इस मामले में महुआ मोइत्रा की ओर से शंकरनारायणन के पेश होने से हितों का टकराव हो सकता है। कोर्ट ने कहा, “मैं वास्तव में स्तब्ध हूं। आप एक ऐसे व्यक्ति हैं जिनसे उच्चतम पेशेवर मानक बनाए रखने की उम्मीद की जाती है। यदि आप प्रतिवादी नंबर 2 के संपर्क में रहे हैं, तो इसका मतलब है कि आपने मध्यस्थ की भूमिका निभाई है। क्या आपको लगता है कि आप इसमें शामिल हो सकते हैं।”
इसके बाद शंकरनारायणन ने मामले से हटने का फैसला किया। इस मामले पर अब 31 अक्टूबर को सुनवाई होगी।
आपको बता दें कि निशिकांत दुबे ने केंद्रीय आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव और केंद्रीय राज्य मंत्री (एमओएस) आईटी राजीव चंद्रशेखर को एक पत्र लिखा, जिसमें कहा गया कि महुआ मोइत्रा ने संसद में सवाल पूछने के लिए पैसे लिए थे। उन्होंने एक जांच समिति गठित करने का आग्रह किया है। उन्होंने महुआ मोइत्रा और व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी के बीच रिश्वत के आदान-प्रदान के आरोपों का हवाला देते हुए कार्रवाई को आईपीसी की धारा 120 ए के तहत सदन की अवमानना करार दिया है।
#WATCH | Allegations of bribery matter | Advocate Gopal Sankaranarayanan, appearing for TMC MP Mahua Moitra says, “I have absolutely no comments except to say, because Jai (Advocate Jai Anant Dehadrai) instructed me in a case, I had reached out to him yesterday and had asked him… pic.twitter.com/Xu3Lf0cPJ2
— ANI (@ANI) October 20, 2023