ढाई साल बाद भी नहीं बना सिटी फॉरेस्ट पार्क, वाइल्ड लाइफ थीम पर बनना था पार्क

सवाई माधोपुर। सवाईमाधोपुर रणथम्भौर में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए UIT (नगर विकास न्यास) की ओर से सवाई माधोपुर में सिटी फोरेस्ट विकसित नहीं हो सकी है। करीब पौने दो साल पहले बनी योजना अब तक क्रियान्वन नहीं हुआ है। हालांकि UIT की ओर से इसकी कवायद तो शुरु कर दी गई है, लेकिन काम धीमी गति से होने के कारण अब तक सिटी फोरेस्ट का सपना पूरा नहीं हो सका है। दरअसल, रणथम्भौर रोड स्थित खिलचीपुर में रणथम्भौर टाइगर प्रोजेक्ट की तर्ज पर ही सिटी फोरेस्ट विकसित किया जाना था। इसके लिए विभाग की ओर से जमीन श भी चिन्हित की गई थी, लेकिन अब तक DPR को मंजूरी नहीं मिलने के कारण काम नहीं हो सका है। UIT की ओर से सिटी फोरेस्ट पार्क का निर्माण वन विभाग की जमीन पर ही करावाना था। नियमानुसार रणथम्भौर टाइगर रिजर्व क्षेत्र के एक हजार मीटर की परिधि में कोई निर्माण कार्य नहीं कराया जा सकता है।
जिसके चलते खिलचीपुर में 46 हैक्टयर जमीन पर यह पार्क विकसित करने का निर्णय लिया गया। वन विभाग की ओर से भी इस जमीन पर सिटी फोरेस्ट पार्क विकसित करने की स्वीकृति दी जा चुकी है। इसके बाद पहले चरण में UIT की ओर से करीब तीन हैक्टयर जमीन नर्सरी भी विकसित की गई है। फोरेस्ट पार्क में टाइगर, मगरमच्छ, हिरण, लेपर्ड सहित कई वन्यजीवों की कलाकृति लगाई जानी थी। इसके अलावा पर्यटकों की सुविधा के लिए लॉन व पेड लगाकर एरिया को विकसित कर छोटे जंगल के रूप में विकसित देना था। इसके अलावा पर्यटकों की सुविधा के लिए बैंच, कुर्सी, जलपान गृह की सुविधाएं भी विकसित की जानी थी। यहां पार्क में रणथम्भौर में पाए जाने वाले वन्यजीवों के बारे में जानकारी भी पर्यटकों के लिए अंकित की जानी थी। सिटी फोरेस्ट पार्क बन सकता है पर्यटन का नया विकल्प खिलचीपुर में सिटी फोरेस्ट पार्क के विकसित होने के बाद रणथम्भौर आने वाले पर्यटकों के लिए पर्यटन का एक ओर विकल्प उपलब्ध हो सकता है। इससे सरकार के राजस्व में इजाफा होने के साथ ही लोगों को रोज्रगार भी मिलने संभावना है। मामले को लेकर सवाई माधोपुर SDM अनिल चौधरी का कहना है कि खिलचीपुर में सिटी फोरेस्ट विकसित किया जाना प्रस्तावित है, लेकिन हाल ही में ट्रासंफर होकर आने की वजह से प्रोजेक्ट की प्रगति के बारे में दिखवाकर ही कुछ पाऊंगा।
