उत्तर प्रदेश में होगा सेमी कंडक्टर चिप का निर्माण, ग्रीन हाईड्रोजन नीति-23 का मसौदा

उत्तरप्रदेश | प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन शुरू किया है. यूपी अब निवेश के नए रास्ते खोलने जा रहा है. राज्य की कोशिश अब सेमी कंडक्टर निर्माण करने वाली बड़ी कंपनियों को यूपी लाने की है. इसके लिए पहली बार सेमी कंडक्टर निर्माण को प्रोत्साहित करने के लिए ‘सेमी कंडक्टर नीति’ लाने की तैयारी है.

इस संबंध में शासन स्तर पर तैयारी शुरू हो गई है. गुजरात पांच साल की सेमीकंडक्टर नीति पहले ही लागू कर चुका है. अब यूपी तमाम रियायतों व मजबूत इकोसिस्टम के साथ एक मुकम्मल नीति तैयार करेगा. तमाम तरह के इलेक्ट्रानिक्स गैजेटस में सेमी कंडक्टर चिप का इस्तेमाल होता है. यही नहीं हवाई जहाज, कार व घरेलू इलेक्ट्रानिक्स उपकरणों का निर्माण इसके बिना संभव नहीं है. अभी इस सेक्टर में ताइवान की कंपनियों का दबदबा है. इनमें कुछ भारत का रुख कर रही हैं. यूपी में पहले से मोबाइल फोन निर्माण का बड़ा हब बन चुका है. इसके उपकरणों में चिप की जरूरत पड़ती है.
ग्रीन हाइड्रोजन नीति 23
मुख्यमंत्री के निर्देश पर अधिकारियों ने ग्रीन हाईड्रोजन नीति-23 का संशोधित मसौदा तैयार किया है. इसके तहत विदेशी व देशी कंपनियों को यहां ग्रीन हाईड्रोजन परियोजना लगाने के लिए कई इंसेंटिव दिए जाएंगे. जमीन क्रय पर स्टांप शुल्क, विद्युत कर में छूट के अलावा अन्य प्रोत्साहन दिए जाने की तैयारी है. कच्चे माल के रूप में राज्य में उपलब्ध प्रचुर जलराशि के उपयोग कर रिजर्व वाटर बनाने की भी योजना है. इस साल हुए वैश्विक निवेश्क सम्मेलन में डेढ़ दर्जन निवेशकों ने इस सेक्टर में से 2.75 लाख करोड़ रुपये के निवेश के प्रस्ताव दिए हैं.
प्रत्यक्ष विदेशी निवेश नीति 23
विदेशी निवेशकों को आकर्षिक करने के लिए उनके लिहाज से नीतियों को अनुकूल बनाने व उनकी परियोजना को तेजी से पूरा कराने पर अब फोकस किया जाएगा. राज्य में से 22 के बीच 11 हजार करोड़ रुपये का प्रत्यक्ष विदेशी निवेश आया. इसे और बढ़ाने की जरूरत है. राज्य में इसकी व्यापक संभावनाएं देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश नीति लाने का निर्देश दिया था ताकि इसके आधार पर वैश्विक कंपनियों को आकर्षित किया जा सके.