जिले में एक अक्तूबर से शुरू होगा खनन


उत्तराखंड |� जिले की नदियों में एक अक्तूबर से हर हाल में खनन शुरू कर दिया जाएगा. डीएम सोनिका की अध्यक्षता में कलक्ट्रेट में हुई जिला खनन समिति की बैठक में यह निर्णय लिया गया.
डीएम सोनिका ने खनन से जुड़े वन विकास निगम, वन विभाग और जीएमवीएन के अधिकारियों को खनन की तैयारियां पूरी करने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि खनन करने के साथ ही अवैध खनन रोकना सबसे बड़ी चुनौती होगी. इसके लिए उन्होंने सभी गेटों में कंप्यूटराइज कांटे, सीसीटीवी और आरएफआईडी डिवाइस लगाने के निर्देश दिए. वन निगम के डीएलएम खनन आन सिंह कांदली ने बैठक में जानकारी दी कि जाखन-एक और स्वारना नदी में अभी खनन खोल दिया जाएगा. जिसके लिए गेटों पर कांटे लगाने का काम भी लगभग पूरा हो गया है. बाकी व्यवस्थाएं भी की जा रही हैं. बैठक में डीएफओ देहरादून नितीश मणि त्रिपाठी भी मौजूद रहे.
20 से 30 प्रतिशत तक होगा सस्ता अगर इन दोनों नदियों में खनन शुरू हो जाता है तो इससे काफी फायदा होगा. जहां लोगों को आसानी से रेत व बजरी मिल सकेगी, वहीं इसके रेट भी 20 से 30 प्रतिशत तक कम हो जाएंगे. अभी हिमाचल से रेत व बजरी करी 120 से 170 रुपये प्रति कुंतल तक मिल रहा है. धुली बजरी की तो काफी किल्लत है. माल नहीं आने से ये ब्लैक में मिल रही है. लेकिन इन नदियों से ये आसानी से उपलब्ध हो सकेंगी.

उत्तराखंड |� जिले की नदियों में एक अक्तूबर से हर हाल में खनन शुरू कर दिया जाएगा. डीएम सोनिका की अध्यक्षता में कलक्ट्रेट में हुई जिला खनन समिति की बैठक में यह निर्णय लिया गया.
डीएम सोनिका ने खनन से जुड़े वन विकास निगम, वन विभाग और जीएमवीएन के अधिकारियों को खनन की तैयारियां पूरी करने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि खनन करने के साथ ही अवैध खनन रोकना सबसे बड़ी चुनौती होगी. इसके लिए उन्होंने सभी गेटों में कंप्यूटराइज कांटे, सीसीटीवी और आरएफआईडी डिवाइस लगाने के निर्देश दिए. वन निगम के डीएलएम खनन आन सिंह कांदली ने बैठक में जानकारी दी कि जाखन-एक और स्वारना नदी में अभी खनन खोल दिया जाएगा. जिसके लिए गेटों पर कांटे लगाने का काम भी लगभग पूरा हो गया है. बाकी व्यवस्थाएं भी की जा रही हैं. बैठक में डीएफओ देहरादून नितीश मणि त्रिपाठी भी मौजूद रहे.
20 से 30 प्रतिशत तक होगा सस्ता अगर इन दोनों नदियों में खनन शुरू हो जाता है तो इससे काफी फायदा होगा. जहां लोगों को आसानी से रेत व बजरी मिल सकेगी, वहीं इसके रेट भी 20 से 30 प्रतिशत तक कम हो जाएंगे. अभी हिमाचल से रेत व बजरी करी 120 से 170 रुपये प्रति कुंतल तक मिल रहा है. धुली बजरी की तो काफी किल्लत है. माल नहीं आने से ये ब्लैक में मिल रही है. लेकिन इन नदियों से ये आसानी से उपलब्ध हो सकेंगी.
