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विशाखापत्तनम: पूर्व केंद्रीय सरकार सचिव ई.ए.एस. सरमा ने तटीय नियामक क्षेत्र (सीआरजेड) मानदंडों के उल्लंघन में रुशिकोंडा पर की जा रही निर्माण गतिविधियों पर पर्यावरण मंत्रालय की सचिव लीना नंदन को पत्र लिखा है। सरमा ने अपने पत्र में कहा कि रुशिकोंडा में निर्माण कार्य के लिए दी गई सीआरजेड मंजूरी केवल उसी हद तक वैध होगी, जब तक इसके नियमों का पालन किया जाता है।
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“लेकिन एपीटीडीसी ने अनुमति से अधिक क्षेत्रों में निर्माण कार्य करके गंभीर उल्लंघन किया है। यह सीआरजेड द्वारा कवर किए गए क्षेत्र के भीतर अनधिकृत तरीके से निर्माण कचरे को भी डंप कर रहा है। इसका तटीय पारिस्थितिकी पर दीर्घकालिक प्रभाव पड़ेगा।” पूर्व वरिष्ठ सिविल सेवक ने बताया। उन्होंने आगे रेखांकित किया कि यह एपी उच्च न्यायालय के ध्यान में नहीं लाया गया है कि एपीटीडीसी सीआरजेड मंजूरी का उल्लंघन करते हुए रुशिकोंडा पर विकसित क्षेत्र का उपयोग पर्यटन के लिए नहीं बल्कि अन्य उद्देश्यों के लिए करेगा।
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